स्मार्ट मीटर व्यवस्था भी रिलायन्स के हवाले :इस देश में मोदी राज में बड़े ठेके या तो अडानी को जाएंगे या अम्बानी को जाएंगे, …….पॉवर सेक्टर की देश की सबसे बड़ी निजी कम्पनी का तमगा अडानी पॉवर को मिल ही चुका है लेकिन यहाँ अम्बानी जी थोड़ा पीछे रह गए थे, मोदी जी की कृपा से आपके घरों के पुराने बिजली मीटरों को स्मार्ट मीटर में बदला जा रहा है,…….इन स्मार्ट मीटर में लगने वाले टेक्निकल सपोर्ट का सारा कामकाज अब रिलायन्स ही संभालने वाली है, रिलायंस इंडस्ट्रीज अब स्मार्ट इलेक्ट्रिसिटी मीटर मार्केट में भी प्रवेश कर रही है.
खबर आयी है कि रिलायन्स अपने जियो नेटवर्क के जरिए बिजली वितरण कंपनियों को मीटर डेटा कलेक्शन, कम्यूनिकेशन कार्ड्स, टेलीकॉम और क्लाउड होस्टिंग सर्विस देगी………… मिंट की खबर के मुताबिक मुकेश अंबानी की कंपनी एडवांस मीटरिंग इन्फ्रास्ट्रक्चर (AMI) बिजनेस को देख रही है और इन सर्विसेज को नैरो बैंड-इंटरनेट ऑफ थिंग्स (NB-IoT) के जरिए देने की प्लानिंग कर रही है.
स्मार्ट मीटर योजना के तहत देश भर में लगभग 30 करोड़ मीटर बदले जाने है केंद्रीय बिजली मंत्री आर.के. सिंह ने पिछले साल ही ऐलान कर दिया था कि देश में कोई भी मीटर पोस्ट पेड नहीं रह जाएगा। हरेक मीटर बदले जाएंगे चाहे वे मीटर बिल्कुल सही काम कर रहे हो. इस व्यवस्था से सबसे बड़ा परिवर्तन यह आएगा कि यह प्रीपेड मीटर होंगे यानी जैसे आप कि अपने मोबाइल को या टाटा स्काई, डिश टीवी को रिचार्ज करवाते हो वैसे ही अब आपको अपने घर की बिजली को जलाने के लिए पहले बेलेंस डलवाना होगा कुछ ही सालो में देश के हर घर का मीटर प्री-पेड मीटर हो जाएगा,
इसकी एक ओर खासियत होगी कि उपभोक्ताओं को पीक अवधि के लिए और अधिक भुगतान करना होगा यानी जिस वक्त घर मे बिजली का कम इस्तेमाल होगा उस वक्त का कम बिल आयेगा ओर जैसे शाम के 7 बजे बाद जब बिजली का अधिक इस्तेमाल होगा उस वक्त आपका मीटर ओर तेजी से घूमेगा……..आप चाहे नमो नमो का कितना ही जाप कर ले विद्युत खपत में कोई कमी नही आएगी………..
यह बहुत बड़ा प्रोग्राम है इसे दुनिया का सबसे बड़ा इलेक्ट्रिसिटी स्मार्ट मीटरिंग प्रोग्राम माना जा रहा है…..स्मार्ट मीटर की सारी गतिविधियो को रिकॉर्ड कर पॉवर कम्पनियों तक पुहंचाने के लिए टेक्निकल सपोर्ट देने का ठेका ही सम्भवत रिलायन्स को दिया जा रहा है, क्योंकि स्मार्ट मीटर के लिए टू-वे कम्युनिकेशन नेटवर्क, कंट्रोल सेंटर इक्यूपमेंट और एनर्जी यूसेज इन्फॉर्मेशन को रियल-टाइम गेदरिंग और ट्रांसफर करने के लिए सॉफ्टवेयर एप्लिकेशन की जरूरत होती है. अब मोदी राज में यह काम रिलायन्स नही करेगा तो कौन करेगा ?
हम तो हमेशा कहते हैं कि 2024 तक भारत देश अडानी अम्बानी रिपब्लिक में बदल चुका होगा
Girish Malviya