भारतीय जनता पार्टी छोड़ कांग्रेस गईं सावित्री बाई फुले ने एक साल के भीतर ही कांग्रेस का साथ छोड़ दिया और ऐलान किया कि अब वह अपनी खुद की पार्टी बनाएंगी। बहराइच की पूर्व सांसद सावित्री बाई फुले ने 6 दिसंबर 2018 को लखनऊ में भाजपा की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफे का ऐलान किया था। हालांकि, उन्होंने अपना कार्यकाल पूरा पूरा किया था।
समाचार एजेंसी एएनआई के मुताबिक, उन्होंने आरोप लगाया कि पार्टी में मेरी आवाज नहीं सुनी जा रही। इसलिए मैं इस्तीफा दे रही हूं। मैं अपनी खुद की पार्टी बनाऊंगी। सावित्री ने कहा कि वह नई पार्टी बनाएंगी और दलितों की आवाज उठाएंगी। नई पार्टी का एलान वह लखनऊ में 19 जनवरी को कर सकती हैं।
दरअसल, पिछले साल ही लोकसभा चुनाव से ठीक पहले सावित्री बाई फुले ने बारतीय जनता पार्टी का दामन छोड़कर कांग्रेस का हाथ थामा था। वह बीजेपी की दलित महिला चेहरा थीं, बाद में कांग्रेस में शामिल हुई थीं। छह साल की उम्र में उनकी शादी कर दी गई थी लेकिन उनकी विदाई नहीं हुई। इसके बाद बड़े होने पर उन्होंने संन्यास ले लिया।
बहराइच की पूर्व सांसद सावित्री बाई फुले ने 2012 में बीजेपी के टिकट पर बलहा (सुरक्षित) विधानसभा सीट से चुनाव जीता था और 2014 में उन्हें सांसद का टिकट मिला और वह संसद पहुंची थीं।