नयी दिल्ली । पूर्व केन्द्रीय गृह राज्य मंत्री व बीजेपी के वरिष्ठ नेता स्वामी चिन्मयानंद को गिरफ्तार कर लिया गया है। चिन्मयानंद की यह गिरफ्तारी लॉ की छात्रा द्वारा यौन शोषण के लगाए गए आरोप में हुई है।
मामले में पीड़ित छात्रा ने स्वामी पर और भी बड़े आरोप लगाए हैं। उसने आरोप लगाया है कि स्वामी चिन्मयानंद ने उसका नहाते वक्त का वीडियो बनाया था। इसी वीडियो को वायरल करने की धमकी देकर वह लगातार उसके साथ दुष्कर्म करता रहा और बाद में कैमरे से उसने साक्ष्य भी गायब करा दिए।
पीड़ित छात्रा ने आरोप लगाया है कि स्वामी की गलती की वजह से ही लोगों ने उससे रंगदारी की मांग की थी। मामले की जांच सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर एसआईटी कर रही है। छात्रा ने इस मामले में जांच कर रही एसआईटी टीम को कुल 43 वीडियो सौंपे है, जिसमें पीड़ित लड़की के मुताबिक स्वामी चिन्मयानंद की काली करतूतों का सारा सबूत बंद है।
बता दें स्वामी चिन्मयानंद के खिलाफ इसके पहले भी एक लड़की ने किडनैपिंग और रेप का मामला दर्ज करवाया था। स्वामी चिन्मयानंद पर 2011 में उनके आश्रम में रहने वाली एक लड़की ने रेप का आरोप लगाया था। उस मामले में 30 नवंबर 2011 को शाहजहांपुर की कोतवाली में स्वामी चिन्मयानंद के ऊपर रेप की एफआईआर दर्ज की गई थी।
रेप का आरोप लगाने वाली लड़की ने चिन्मयानंद के आश्रम में कई साल गुजारे थे। उसने अपनी शिकायत में कहा था कि हरिद्वार में आश्रम में रहने के दौरान स्वामी चिन्मयानंद ने उसका रेप किया था। इस संबंध में पीड़ित लड़की के पिता ने शाहजहांपुर में एफआईआर दर्ज करवाई थी।
इस मुकदमे के खिलाफ स्वामी चिन्मयानंद ने हाईकोर्ट की शरण ली। हाईकोर्ट ने उनकी गिरफ्तारी पर रोक लगा दी थी। पिछले साल यूपी की योगी सरकार ने उनके खिलाफ दर्ज मुकदमा वापस लेने का फैसला लिया। इस संबंध में 6 मार्च 2018 को शाहजहांपुर प्रशासन को पत्र लिखा गया था. जिसके बाद 9 मार्च 2018 को शाहजहांपुर प्रशासन ने स्वामी चिन्मयानंद के खिलाफ दर्ज मुकदमा वापस लेने की सिफारिश कर दी थी।