साक्षी
गांधी सेतु का पश्चिमी लेन का काम जो कि बहुत दिनों से चल रहा था और उसे पूरा इसी माह किया जाने वाला था पर वह नहीं हो पाया। गांधी सेतु के पश्चिमी लेन का निर्माण 15 जून तक पूरा कर उसे चालू करने की घोषणा पथ निर्माण मंत्री नंद किशोर यादव ने पिछले महीने की थी लेकिन, इसे निर्धारित तिथि तक पूरा करना संभव नहीं हो पाया।
उन्होंने बताया कि पुल के पश्चिमी लेन के 45 में से नौ स्पैन की पीचिंग व 10 का एक्सटेंशन ज्वाइंट लगाने का काम अभी बाकी है। साथ ही, आधे से अधिक पुल की पेंटिंग भी बाकी है, ऐसे में कितनी भी तेजी से काम किया जाये, 15 जून तक इसे पूरा करना संभव नहीं है। जबकि इसी तिथि से पीपा पुल को हटा लिये जाने से गंगा पार करने का यह वैकल्पिक मार्ग भी खत्म हो जायेगा।ऐसे में वाहनों का दबाव बढ़ने पर फिर से पहले की तरह ही जाम लगने लगेगा और लोगों को परेशानी होगी. 50% मानव बल का ही हो रहा इस्तेमाल गांधी सेतु के पश्चिमी लेन का पुनर्निर्माण धीमें होने की वजह केवल 50 फीसदी मानव बल का इस्तेमाल है।
लॉकडाउन के दौरान काम शुरू करने की इजाजत देते समय केंद्रीय गृह मंत्रालय ने निर्माण कार्य में 50 फीसदी से अधिक मानव बल का इस्तेमाल नहीं होने की शर्त लगायी थी। इसलिए आधे मानव बल से ही यहां दोबारा निर्माण शुरू हुआ। यह खबर सामने आ रही कि अनलॉक वन की शुरुआत के साथ 50 फीसदी अधिकतम मानव बल के इस्तेमाल की सीमा हटा ली गयी है और सामाजिक दूरी का पालन करते हुए अधिकतम मानव बल के इस्तेमाल की छूट दे दी गयी है।
गांधी सेतु का पश्चिमी लेन का काम जो कि बहुत दिनों से चल रहा था और उसे पूरा इसी माह किया जाने वाला था पर वह नहीं हो पाया। गांधी सेतु के पश्चिमी लेन का निर्माण 15 जून तक पूरा कर उसे चालू करने की घोषणा पथ निर्माण मंत्री नंद किशोर यादव ने पिछले महीने की थी लेकिन, इसे निर्धारित तिथि तक पूरा करना संभव नहीं हो पाया।
उन्होंने बताया कि पुल के पश्चिमी लेन के 45 में से नौ स्पैन की पीचिंग व 10 का एक्सटेंशन ज्वाइंट लगाने का काम अभी बाकी है। साथ ही, आधे से अधिक पुल की पेंटिंग भी बाकी है, ऐसे में कितनी भी तेजी से काम किया जाये, 15 जून तक इसे पूरा करना संभव नहीं है। जबकि इसी तिथि से पीपा पुल को हटा लिये जाने से गंगा पार करने का यह वैकल्पिक मार्ग भी खत्म हो जायेगा।ऐसे में वाहनों का दबाव बढ़ने पर फिर से पहले की तरह ही जाम लगने लगेगा और लोगों को परेशानी होगी. 50% मानव बल का ही हो रहा इस्तेमाल गांधी सेतु के पश्चिमी लेन का पुनर्निर्माण धीमें होने की वजह केवल 50 फीसदी मानव बल का इस्तेमाल है।
लॉकडाउन के दौरान काम शुरू करने की इजाजत देते समय केंद्रीय गृह मंत्रालय ने निर्माण कार्य में 50 फीसदी से अधिक मानव बल का इस्तेमाल नहीं होने की शर्त लगायी थी। इसलिए आधे मानव बल से ही यहां दोबारा निर्माण शुरू हुआ। यह खबर सामने आ रही कि अनलॉक वन की शुरुआत के साथ 50 फीसदी अधिकतम मानव बल के इस्तेमाल की सीमा हटा ली गयी है और सामाजिक दूरी का पालन करते हुए अधिकतम मानव बल के इस्तेमाल की छूट दे दी गयी है।