प्रधानमंत्री आवास योजना ग्रामीण की प्रतीक्षा सूची से छूटे हुए लगभग 33 लाख योग्य परिवारों को राज्य सरकार आवास मुहैया कराएगी। मुख्यमंत्री ग्रामीण आवास योजना के तहत ये कार्य होंगे। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की अध्यक्षता में मंगलवार को हुई राज्य कैबिनेट की बैठक में इसकी स्वीकृति दी गई।
कैबिनेट की बैठक के बाद ग्रामीण विकास के सचिव अरविंद चौधरी ने बताया कि इस योजना में अभी विभाग के पास 120 करोड़ उपलब्ध हैं। इस राशि का उपयोग आवास का निर्माण के लिए किया जाएगा। आगे के वित्तीय वर्षों में भी इसके लिए राशि उपलब्ध कराई जाएगी। एक आवास के निर्माण के लिए एक लाख 20 हजार दिए जाते हैं।
उन्होंने यह भी कहा कि प्रतीक्षा सूची से छूटे परिवार की सूची भी केंद्र सरकार को भेजी गई है। केंद्र सरकार से राशि मिलने के इंतजार में काम रुकेगा नहीं, बल्कि राज्य सरकार आवास निर्माण के लिए खर्च करेगी। गौरतलब हो कि मुख्यमंत्री ग्रामीण आवास योजना के तहत एक जनवरी 1996 से पूर्व विभिन्न आवास योजना के तहत निर्मित अनुसूचित जाति, जनजाति और अति पिछड़ा वर्ग कोटि के परिवारों के आवास जो जीर्ण-शीर्ण अवस्था में हैं, उनके लिए सहायता राशि दी जा रही है। साथ ही पूर्व से आवास योजना का लाभ प्राप्त रहने के कारण प्रधानमंत्री आवास योजना की पात्रता नहीं है, उनको भी आवास निर्माण के लिए सहायता राशि प्रदान की जा रही है।
पूर्णिया में बन रहा राजकीय चिकित्सा महाविद्यालय एवं अस्पताल अब 500 बेड का बनेगा। पहले यह 300 बेड का बन रहा था। 200 अतिरिक्त बेड के निर्माण की स्वीकृति कैबिनेट ने दी, जिस पर 87.78 करोड़ खर्च होंगे। 300 बेड के निर्माण पर 346 करोड़ खर्च आ रहा था।
मुजफ्फरपुर जिले के एईएस (चमकी बुखार) से प्रभावित पांच प्रखंडों के आवास विहीन सभी परिवारों को राज्य सरकार आवास मुहैया कराएगी। कैबिनेट की इसकी मंजूरी दी। इन प्रखंडों में बोचहा, कांटी, मोतीपुर, मीनापुर और मुसहरी शामिल हैं। पूर्व में हुए सर्वे में इन प्रखंडों के 4665 परिवार चिह्नित किए गए थे, जिन्हें आवास मुहैया कराया जाना है। इसके अलावा भी अगर कोई परिवार छूट गया है तो उसे भी इस योजना के तहत आवास मुहैया कराए जाएंगे।
मुजफ्फरपुर जिले के एईएस (चमकी बुखार) से प्रभावित पांच प्रखंडों के आवास विहीन सभी परिवारों को राज्य सरकार आवास मुहैया कराएगी। कैबिनेट की इसकी मंजूरी दी। इन प्रखंडों में बोचहा, कांटी, मोतीपुर, मीनापुर और मुसहरी शामिल हैं। पूर्व में हुए सर्वे में इन प्रखंडों के 4665 परिवार चिह्नित किए गए थे, जिन्हें आवास मुहैया कराया जाना है। इसके अलावा भी अगर कोई परिवार छूट गया है तो उसे भी इस योजना के तहत आवास मुहैया कराए जाएंगे।