यह तस्वीर पूर्णिया जिले के डगरुआ प्रखंड के सकमा गांव की है, जहां प्रसव के बाद बच्चे की मौ’त हो गई। बाढ़ के कारण गांव की पूरी जमीन पानी में डूबी हुई है। आखिरकार, परिजनों ने केले के थंब से बनी नाव पर दो किलोमीटर दूर ले जाकर बच्चे के शव को दफनाया।
प्रखंड क्षेत्र से होकर बहने वाली परमान व बकरा नदियों के जलस्तर में स्थिरता होने के साथ कटाव तेज हो गया है। परमान नदी के पानी फैलने से प्रखंड क्षेत्र के बंगरा महदीपुर पंचायत के रमनी गांव वार्ड नबर एक और दो में लगभग 15-20 परिवारों के घर आंगन में बाढ़ का पानी घुस चुका है। वहीं चारपरिवार मझहर, नईम, रहबर, अजहर के पक्का मकान नदी में विलीन होने के कगार पर है। जबकि सबनम, बीबी रेसा, हलीम, साहिब, जाहिद आदि के घर आंगन में पानी घुस गया है और प्रधानमंत्री सड़क पर आने के लिए भी लोगों को कमर भर पानी पार करना पर रहा है। जिस कारण से लोगों में काफी भय का माहौल बना हुआ है।
विस्थापित परिवारों की अभी तक न ही प्रशासनिक स्तर पर राहत व बचाव की दिॆशा में कोई पहल की गई है। ग्रामीणों ने बताया कि विगत दो दिनों में नदी में भीषण कटाव जारी है। इस कटाव की चपेट में उनका आशियाना धीरे-धीरे समाता जा रहा है टूटे-फूटे आशियाने को वे बचाकर किसी तरह इधर उधर जीवन गुजर बसर कर रहे हैं।