दूरसंचार कंपनियों का कहना है कि वो घाटे में जा रही है । वर्तमान की स्थिती लाभप्रद नही है । जबकि दूरसंचार विभाग ने पिछले साल दिसंबर में ही अपने टैरिफ प्लान में बढ़ोतरी की है ।
दूरसंचार क्षेत्र (Telecom Sector) की मौजूदा संरचना लाभप्रद नहीं होने के कारण अगले एक से डेढ़ साल में फोन कॉल व इंटरनेट (Phone Calls and Interned Bills) समेत सभी सेवाओं की दरों को दो बार बढ़ाया जा सकता है. EY ने यह अनुमान व्यक्त किया है. EY के लीडर (उभरते बाजारों की प्रौद्योगिकी, मीडिया एवं मनोरंजन और दूरसंचार) प्रशांत सिंघल ने कहा कि दरों में तत्काल वृद्धि अभी के हिसाब से उचित नहीं लग रहा है.
दो दौर में हो सकती है बढ़ोतरी
यह अगले 12 से 18 महीने में दो दौर में किया जा सकता है तथा पहली वृद्धि अगले छह महीने में की जा सकती है. उन्होंने कहा, ‘‘दरों में वृद्धि अपरिहार्य है. उपभोक्ताओं के लिये दूरसंचार खर्च ठीक-ठाक कम है और अगले छह महीने में दरों में वृद्धि की जा सकती है. मैं यह नहीं कह रहा कि यह होगा ही, लेकिन जितना जल्दी हो उतना बेहतर.’’
बाजार में कंपनियों का टिके रहना भी जरूरी
उन्होंने कहा, ‘‘कंपनियों को आर्थिक स्थिति तथा किफायत के बारे में भी सोचना होगा, लेकिन बाजार में टिके रहना सुनिश्चित करने के लिये 12 से 18 महीने में दो बार में दरें बढ़ायी जा सकती हैं और पहली वृद्धि अगले छह महीने में भी हो सकती है.’’
पिछले साल दिसंबर में ही बढ़ी हैं दरें
सिंघल ने कहा कि यह नियामकीय हस्तक्षेप के माध्यम से होता है या दूरसंचार उद्योग खुद ही यह करती है, यह देखना होगा, लेकिन यह स्पष्ट है कि दूरसंचार कंपनियों की वित्तीय स्थिति शुल्क वृद्धि को अपरिहार्य बना रही है. उल्लेखनीय है कि दूरसंचार कंपनियां पिछले साल दिसंबर में कॉल, इंटरनेट आदि सेवाओं की दरें बढ़ा चुकी हैं.