बाबा रामदेव ने कोरोना वायरस को लेकर एक दावा किया। उनका कहना है कि यदि कोई व्यक्ति एक मिनट तक अपनी सांस रोक ले तो इसका मतलब है कि उसे कोरोना वायरस नहीं है। यह कोरोना के लक्षण और बिना लक्षण वाले दोनों मामलों में कारगर है। रामदेव ने यह बात आज तक ई-एजेंडा के दौरान कही।
उन्होंने कहा
कोरोना वायरस के लिए स्पेशल प्राणायाम है। इसे उज्जाई कहते हैं। इसमें गले से संपर्क होता है। फिर आवाज के साथ हवा लेते हैं। कुछ देर इसे रोकते हैं। फिर धीरे-धीरे सांस छोड़ते हैं।
आज तक ई-एजेंडा के दौरान बाबा रामदेव ने ऐसा करके दिखाया। और कहा कि ऐसा करने से कोरोना वायरस का टेस्ट भी हो जाता है।
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— IndiaToday (@IndiaToday) April 25, 2020
बाबा रामदेव ने कहा,
जिन्हें क्रॉनिक हायपरटेंशन, दिल की बीमारी, डायबिटीज है और जो बुजुर्ग हैं। वे 30 सेकंड और जवान एक मिनट तक सांस रोकें। ऐसा कर लेते हैं तो पता चल जाएगा कि आपको कोरोना वायरस नहीं है। फिर चाहें लक्षण हो या न हो।
इसके अलावा बाबा रामदेव ने दावा किया कि नाक में सरसों का तेल डालने से कोरोना वायरस पेट में जाकर मर जाएगा।
रामदेव ने आगे कहा,
इसके साथ आप सरसों का तेल नाक में डाल दें तो पूरी सांस नली में कहीं भी कोरोना हो तो वह पेट में चला जाएगा। और वहां एसिड उसे मार देंगे।
उन्होंने लोगों से योग करने को भी कहा। बताया कि शरीर में ऑक्सीजन कम होना ज्यादातर बीमारियों की मुख्य वजह है। दुनियाभर में स्टडी से यह साबित हो चुका है। योग करना चाहिए। इससे शरीर की इम्युनिटी बढ़ेगी। अंदरूनी अंग मजबूत होंगे और कोरोना से रक्षा होगी।
बाबा रामदेव ने घर में बच्चों को हेल्दी रखने के लिए भी कुछ खास टिप्स दिए। उन्होंने कहा कि बच्चों को अच्छी डाइट देने के साथ-साथ उन्हें सूर्य नमस्कार जैसी अच्छी आदतें सिखाएं। इसके अलावा फिजिकल स्ट्रेंथ के लिए आप उन्हें घर में पुश-अप्स और दंड बैठक लगवा सकते हैं।
WHO ने क्या कहा था?
सांस रोकने से कोरोना का पता चलने के दावे का विश्व स्वास्थय संगठन यानी WHO काफी पहले खंडन कर चुका है। उसका कहना है कि 10 सेकंड या इससे ज्यादा समय तक सांस रोकने से कोरोना वायरस का पता नहीं चलता है। कोरोना का पता लैब में टेस्ट से ही चलता है।